लगातार तीसरे सप्ताह कर्ज की कतार में छत्तीसगढ़ सरकार: फिर हजार करोड़ के लोन के लिए खटखटाया RBI
का दरवाजा ।
छत्तीसगढ़ की विष्णुदेव साय सरकार फिर कर्ज लेने जा रही है। सरकार ने RBI से 1000 करोड़ रुपये का कर्ज मांगा है। RBI ने इसके लिए वित्तीय संस्थाओं से प्रस्ताव आमंत्रित किया है।
राज्य सरकार यह हजार करोड़ का कर्ज 9 साल के लिए लेने जा रही है। छत्तीसगढ़ के साथ ही 11 और राज्यों ने कर्ज के लिए आरबीआई को आवेदन सौंपा है।
महीनेभर के भीतर यह तीसरी बार है, जब छत्तीसगढ़ सरकार कर्ज लेने जा रही है। इससे पहले सरकार 16 और 23 जनवरी को दो बार में 3 हजार करोड़ का कर्ज ले चुकी है। अफसरों के अनुसार प्रदेश सरकार का खजाना लगभग खाली है। ऐसे में सरकार को विकास कार्यों के लिए बार-बार कर्ज लेना पड़ रहा है। इस नए हजार करोड़ के कर्ज के साथ राज्य सरकार का कर्जभार बढ़कर 95000 करोड़ तक पहुंच जाएगा ।
बता दें कि पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार में सरकारी कर्ज बड़ा मुद्दा बन गया था। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय और वित्त मंत्री ओपी चौधरी बार-बार आरोप लगा रहे हैं कि कांग्रेस की सरकार खजाना को पूरी तरह खोखला कर दी है।
प्रदेश की विष्णुदेव साय सरकार को 91 हजार 553 करोड़ रुपये का कर्ज विरासत में मिला है। यह जानकारी सीए विष्णुदेव साय ने दिसंबर में अनुपूरक बजट पर चर्चा के दौरान दी थी। इसमें से लगभग 50000 करोड़ रुपये भूपेश बघेल के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार के कार्यकाल का है।
प्रदेश की विष्णुदेव साय सरकार ने 16 जनवरी को 2000 करोड़ का कर्ज लिया। साय सरकार का यह पहला कर्ज था। सरकार ने ये 2000 करोड़ 1000- 1000 करोड़ के 2 पार्ट में 8 और 9 साल के लिए लिया है।
- इसके बाद सरकार ने 23 जनवरी को फिर 1000 करोड़ रुपये का लोन लिया है। यह रकम भी RBI के माध्यम से लिया गया है। सरकार ने यह 1000 करोड़ 7 साल के लिए लिया है।